लखनऊ,। उत्तर प्रदेश में तीसरे चरण की 10 सीटों पर 7 मई को
मतदान होगा। पिछले चुनाव में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने 8 सीटों पर
कब्जा जमाया था। 2 सीटें समाजवादी पार्टी (सपा) ने जीती थी। इस चुनाव में
भाजपा के वोट शेयर में शानदार बढ़ोत्तरी हुई। मोदी मैजिक का यह कमाल रहा कि
मैनपुरी की हारी हुई सीट पर भी भाजपा का वोट शेयर 20 फीसदी से ज्यादा बढ़ा
था। बता दें, भाजपा ने 2024 के आम चुनाव के लिए 50 फीसदी वोट शेयर का
लक्ष्य रखा है।
हारी सीटों पर बढ़ा वोट शेयर
2019 के
आम चुनाव में भाजपा संभल और मैनपुरी सीटों पर हार का सामना करना पड़ा।
मैनपुरी सीट पर हार के बावजूद भाजपा के वोट शेयर में 20.87 की बढ़ोत्तरी
दर्ज हुई। 2014 के चुनाव में इस सीट पर भाजपा का वोट शेयर 23.14 फीसदी था,
जो 2019 के चुनाव में बढ़कर 44.01 फीसदी पहुंच गया। हालांकि दोनों चुनाव
में भाजपा को हार का सामना करना पड़ा। वहीं संभल संसदीय सीट की बात की जाए
तो 2019 के आम चुनाव में भाजपा ने हार के बावजूद अपने वोट शेयर में 6.74
फीसदी का इजाफा किया। 2014 में भाजपा का वोट शेयर 34.08 फीसदी था, जो 2019
के चुनाव में 40.82 फीसदी हो गया। 2014 में भाजपा ने ये सीट जीती थी।
जीती सीटों का हाल
2019
के आम चुनाव में भाजपा ने हाथरस (अ0जा0),आगरा (अ0जा0), फतेहपुर सीकरी,
फिरोजाबाद, एटा, बदायूं, आंवला और बरेली संसदीय सीटें जीती थी। फतेहपुर
सीकरी सीट पर भाजपा ने वोट शेयर में 20.18 फीसदी की बढ़ोत्तरी के साथ जीत
का झंडा गाड़ा। इस चुनाव में भाजपा प्रत्याशी राजकुमार को 64.24 फीसदी वोट
हासिल हुए। 2014 के चुनाव में भाजपा इस सीट पर विजयी रही। तब उसका वोट शेयर
44.06 फीसदी था। सपा के गढ़ बदायूं में भाजपा ने वोट शेयर में 14.97
फीसदी इजाफे के साथ सपा प्रत्याशी को पटखनी दी। भाजपा प्रत्याशी संघप्रिया
गौतम ने 47.28 फीसदी वोट शेयर के साथ यहां कमल का फूल खिलाया। 2014 के
चुनाव में इस सीट को सपा के धर्मेन्द्र यादव ने जीता था। भाजपा के वागीश
पाठक दूसरे स्थान पर रहे। भाजपा को वोट शेयर 32.31 फीसदी था। वहीं आंवला
सीट पर भाजपा के वोट शेयर में 9.91, फिरोजाबाद में 7.99, हाथरस में 7.56,
एटा में 3.24 फीसदी की बढ़ोत्तरी दर्ज हुई। पेठा नगरी आगरा और झुमका नगरी
बरेली में क्रमश: उसका वोट शेयर 1.93 और 1.98 फीसदी बढ़ा।
पिछले तीन चुनाव में भाजपा का वोट शेयर
2019
में जब उप्र में आम चुनाव हुए थे तो जनता ने भाजपा को 49.56 फीसदी वोट
दिए। हालांकि, 2014 के मुकाबले सीटें घट गई थीं। इस चुनाव में 62 सीटें
भाजपा और दो सीटें सहयोगी अपना दल के खाते में आई। 2014 में भाजपा 71 और
अपना दल 2 यानी गठबंधन 73 सीटें जीतने में सफल रहा। भाजपा का वोट शेयर
42.33 फीसदी रहा। 2009 के आम चुनाव में भाजपा 10 सीटों पर जीती, उसका वोट
शेयर 17.50 फीसदी था।
सर्वे के हवाले से
आम चुनाव को
लेकर हुए सर्वे में यह बात सामने आई है कि इस बार उप्र में भाजपा को 50
प्रतिशत के पार वोट शेयर मिलता दिख रहा है। सपा-कांग्रेस मिलकर 30 प्रतिशत
से नीचे दिख रहे हैं। बसपा को अकेले दम पर अच्छा प्रदर्शन करने की उम्मीद
जताई गई है।